Monday 15 August 2011

क्या सबेरा आएगा ?

भेड़ियों से घिर गया है हिरन
सारा जंगल मौन रह कर देखता है
क्या हिरन बच पायेगा ?

रात के पंजो से घायल किरन
मेरा दिल मुझसे यही अब पूछता है
क्या सबेरा आएगा ?

रह रह के
भीगते हैं  ये नयन
एक गांधी जो कब का मर चुका है
हर रोज़ मारा जाएगा ?

सोच कर डूबता है प्यासा मन
ये काला बादल जो हर घड़ी  गरज़ता है 
क्या बारिशें भी लाएगा ?

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