Chithhi
Sunday, 26 June 2011
अब तो ईश्वर ही यहाँ उपजेंगे
मैंने जिस बुत को ज़िन्दगी दी थी
आज देखो वो बन गया भगवान
उसने पत्थर बना दिया है मुझे
मुझ ही से पूछ रहा है मेरी पहचान
अब तो ईश्वर ही यहाँ उपजेंगे
जो हैं जिंदा वो बनेंगे पत्थर
जिसमे इंसान कभी रहते थे
हो के रह जाएगा बुतों का शहर
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